Lyrics
अपनों को जबअपनी
दुनिया ठुकराती है
जाने अनजाने में हाय
निकल जाती है
हाय लगे ना तुझको दुआ
ये माँ देकर जाती है
माँ का दिल माफ़ कर जाएगा
तेरा किया आगे आएगा
सुख दुःख है क्या फल कर्मों का
जैसी करनी वैसी भरनी
जैसी करनी वैसी भरनी
जैसी करनी वैसी भरनी
NAGRATH RAJESH ROSHAN, SHYAMLAL HARLAL RAI INDIVAR
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